अमेजन में जहरीले डार्ट मेंढक की नीली प्रजाति की हुई खोज: शोध

शोध के मुताबिक, ज्यादातर जहरीले डार्ट मेंढकों की तरह, नया मेंढक भी छोटा है, मात्र 15 मिमी लंबा है, यह 10 सालों में वंश में जोड़ी जाने वाली पहली नई प्रजाति है।
जहरीले मेंढक (डेंड्रोबेटिडे) ने हमेशा अपने चमकीले एपोसेमेटिक रंग पैटर्न, विषैली त्वचा एल्कलॉइड और जटिल व्यवहार के साथ लोगों का ध्यान आकर्षित किया है।
जहरीले मेंढक (डेंड्रोबेटिडे) ने हमेशा अपने चमकीले एपोसेमेटिक रंग पैटर्न, विषैली त्वचा एल्कलॉइड और जटिल व्यवहार के साथ लोगों का ध्यान आकर्षित किया है।फोटो साभार: ओपन-एक्सेस जर्नल प्लोस वन
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ब्राजील में इंस्टीट्यूटो नैशनल डी पेस्क्विसस दा अमेजोनिया के वन्यजीव शोधकर्ताओं की एक टीम ने चेक गणराज्य के राष्ट्रीय संग्रहालय के एक सहयोगी के साथ मिलकर ब्राजील के अमेजन वर्षावन में जहरीले डार्ट मेंढक की एक नई प्रजाति की खोज की है। शोधकर्ताओं ने जंगल के अलग-अलग हिस्सों में रहने वाली प्रजातियों के बारे में अधिक जानने के लिए गहराई से खोजबीन की।

शोध में कहा गया है कि भारी प्रयासों के बावजूद, बहुत दूर होने के कारण अमेजन वर्षावन के कई हिस्सों का बहुत कम अध्ययन किया गया है। इस नए प्रयास में, शोधकर्ताओं ने पहले ब्राजील में एक जगह पर एक छोटे विमान में उड़ान भरी।

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जहरीले मेंढक (डेंड्रोबेटिडे) ने हमेशा अपने चमकीले एपोसेमेटिक रंग पैटर्न, विषैली त्वचा एल्कलॉइड और जटिल व्यवहार के साथ लोगों का ध्यान आकर्षित किया है।

फिर उन्होंने जुरुआ नदी बेसिन में 10 घंटे की नाव की सवारी की, उसके बाद स्थानीय गाइड के साथ वर्षावन में एक लंबी पैदल यात्रा की। इससे वे ताड़ के पेड़ों से भरे एक क्षेत्र में पहुंच गए। यहीं पर उन्होंने विज्ञान के लिए अज्ञात मेंढक की एक प्रजाति देखी। उन्होंने टैडपोल सहित कई नमूने एकत्र किए और उन्हें अध्ययन के लिए अपनी प्रयोगशाला में वापस ले आए।

जहरीले मेंढक (डेंड्रोबेटिडे) ने हमेशा अपने चमकीले एपोसेमेटिक रंग पैटर्न, विषैली त्वचा एल्कलॉइड और जटिल व्यवहार के साथ लोगों का ध्यान आकर्षित किया है। इसलिए उनका जीव विज्ञान और वर्गीकरण काफी अध्ययनों का विषय रहा है, जिसके कारण नई प्रजातियों का वर्णन किया जा रहा है जो अभी भी जारी है।

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ओपन-एक्सेस जर्नल प्लोस वन में प्रकाशित शोध में डीएनए विश्लेषण से पता चला कि मेंढक रैनिटोमेया वंश की एक नई प्रजाति है। शोधकर्ताओं ने तुरंत इसका नाम रैनिटोमेया एथेरिया रख दिया, क्योंकि इसकी खासियत इसके शरीर की लंबाई के साथ लंबी, आसमानी नीली रेखाएं हैं। मेंढक के पैर भी तांबे के रंग के हैं, जिन पर भूरे रंग के धब्बे हैं और सिर इसकी लंबाई से अधिक चौड़ा है।

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जंगल में रहते हुए, शोधकर्ताओं ने मेंढक की उसके प्राकृतिक आवास में तस्वीरें खींचीं और वीडियो बनाया। उन्होंने पाया कि इसमें 16 से 35 स्वर वाली एक अनोखी संभोग आवाज थी जो आठ से 16 मिलीसेकंड तक चलती थी। ज्यादातर जहरीले डार्ट मेंढकों की तरह, नया मेंढक भी छोटा है, मात्र 15 मिमी लंबा। यह 10 सालों में वंश में जोड़ी जाने वाली पहली नई प्रजाति है।

टीम ने पाया कि मेंढक आमतौर पर दिन के शुरुआती और आखिरी समय में सबसे अधिक सक्रिय रहते हैं, हालांकि बारिश के दौरान वे अपनी दिनचर्या बदल देते हैं। उन्होंने यह भी पाया कि मेंढक आमतौर पर बानेइरा ब्रावा पौधों के बीच रहते हैं और अक्सर गिरे हुए ताड़ के पत्तों के नीचे छिप जाते हैं। मेंढकों को जंगल के केवल एक छोटे से हिस्से में ही देखा गया।

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