
देश के कई हिस्सों में तूफानी हवाओं के साथ बारिश का दौर जारी है, जबकि बढ़ते तापमान के चलते उत्तर भारत के तमाम हिस्से गर्मी से झुलस रहे हैं, यहां दिन में ही नहीं बल्कि रात में भी गर्मी से निजात नहीं मिल रही है। वहीं पूर्व भारत के कुछ राज्यों में लोग उमस भरी गर्मी का प्रकोप झेलने को मजबूर हैं।
मौसम विभाग के द्वारा आज सुबह, 16 मई, 2025 को जारी पूर्वानुमान में कहा गया है कि अगले दो दिनों के दौरान उत्तर-पश्चिम भारत में अधिकतम तापमान में धीरे-धीरे दो से तीन डिग्री सेल्सियस की वृद्धि हो सकती है। वहीं अगले 24 घंटों के दौरान पूर्वी भारत में अधिकतम तापमान में कोई बड़ा बदलाव होने की संभावना नहीं है, उसके बाद के तीन दिनों तक दो से तीन डिग्री सेल्सियस की गिरावट आने का अनुमान लगाया गया है।
मौसम विभाग की मानें तो अगले तीन दिनों तक मध्य प्रदेश में अधिकतम तापमान में धीरे-धीरे दो से तीन डिग्री सेल्सियस का उछाल आने के आसार हैं। वहीं अगले दो दिनों तक गुजरातमें अधिकतम तापमान में दो से चार डिग्री सेल्सियस की बढ़ोतरी हो सकती है।
वहीं, देश भर में अधिकतम और न्यूनतम तापमान की बात करें तो कल, 15 मई, 2025 को पश्चिम राजस्थान के गंगानगर में अधिकतम तापमान 45.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। जबकि कल, देश के मैदानी इलाकों में तेलंगाना के मेडक में न्यूनतम तापमान 20.4 डिग्री सेल्सियस रहा।
कहां रहेगा गर्म व उमस भरा मौसम, कहां चलेगी हीटवेव?
मौसम विभाग ने अपने ताजा अपडेट में कहा है कि आज, 16 मई, 2025 को बिहार, पंजाब, उत्तर प्रदेश और पश्चिमी राजस्थान के अलग-अलग हिस्सों में लू या हीटवेव चलने की आशंका जताई गई है।
वहीं आज, झारखंड और ओडिशा के अलग-अलग इलाकों में लोगों को गर्म और उमस भरे मौसम से दो चार होना पड़ सकता है। जबकि आज, पूर्वी उत्तर प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में रात में गर्म मौसम बने रहने का अंदेशा जताया गया है।
उत्तर-पश्चिम भारत में कैसा रहेगा मौसम का मिजाज?
देश के विभिन्न हिस्सों में बने चलवाती प्रसार व हवाओं के ट्रफ के चलते 16 और 19 से 21 मई के दौरान पंजाब, हरियाणा, 17 और 18 मई को पूर्वी राजस्थान में बिजली गिरने तथा 30 से 50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली तेज हवाओं के साथ हल्की से मध्यम बारिश के दौर के जारी रहने की संभावना जताई गई है।
वहीं 16 और 17 मई, 2025 को पश्चिमी उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़ और दिल्ली में 16 से 18 मई के दौरान पश्चिमी राजस्थान में 25 से 35 किमी प्रति घंटे की दर से चलने वाली तेज हवाओं के साथ धूल के गुबार उठने की आशंका व्यक्त की गई है।
पूर्वोत्तर भारत में कैसा रहेगा मौसम?
पूर्वोत्तर असम और उसके आसपास के इलाकों में चक्रवाती प्रसार बना हुआ है, इसके चलते अगले पांच दिनों के दौरान पूर्वोत्तर भारत में वज्रपात होने, 30 से 50 किमी प्रति घंटे की गति से चलने वाली तूफानी हवाओं के साथ हल्की से मध्यम बारिश के जारी रहने का पूर्वानुमान है।
वहीं 16 से 18 मई के दौरान अरुणाचल प्रदेश, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में बादलों के जमकर बरसने के आसार हैं, इन राज्यों में 115 मिमी या उससे अधिक बरस सकते हैं बादल। 16 से 19 मई के दौरान असम और मेघालय में भारी बारिश होने की आशंका है, यहां बादलों के 115 मिमी या उससे अधिक बरसने के आसार हैं।
मौसम विभाग की मानें तो आज, 16 मई, 2025 को अरुणाचल प्रदेश में बहुत भारी बारिश होने का अंदेशा जताया गया है, यहां 204 मिमी से अधिक बरस सकते हैं बादल।
पश्चिम भारत में कैसा रहेगा मौसमी बदलाव?
मौसम विभाग ने अपने ताजा अपडेट में कहा है कि 16 से 18 मई के दौरान कोंकण और गोवा, मध्य महाराष्ट्र, मराठवाड़ा में बिजली गिरने तथा 30 से 50 किमी प्रति घंटे की गति से चलने वाली तूफानी हवाओं के साथ हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना जताई गई है।
पूर्वी और मध्य भारत कैसा रहेगा मौसम?
मौसम विभाग के द्वारा जारी पूर्वानुमान में कहा गया है कि अगले पांच दिनों के दौरान मध्य प्रदेश, विदर्भ, छत्तीसगढ़, झारखंड, ओडिशा, बिहार, पश्चिम बंगाल और सिक्किम में वज्रपात होने तथा 30 से 50 किमी प्रति घंटे की गति से चलने वाली तूफानी हवाओं के साथ हल्की बारिश के दौर के जारी रहनने की संभावना है।
वहीं, 16 से 19 मई, 2025 के दौरान उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम के कुछ हिस्सों में भारी बारिश होने की आशंका जताई गई है, यहां 115 मिमी या उससे अधिक बारिश हो सकती है।
भारत के दक्षिणी प्रायद्वीप में कैसा रहेगा मौसम का मिजाज?
दक्षिण भारत के अलग-अलग इलाकों में चक्रवाती प्रसार व हवाओं का ट्रफ जारी है, इसके कारण अगले पांच दिनों के दौरान तटीय आंध्र प्रदेश और यनम, रायलसीमा, तेलंगाना, कर्नाटक, तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल तथा केरल और माहे में बिजली कड़कने और 30 से 50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं चलने तथा साथ ही हल्की से मध्यम बारिश के जारी रहने का पूर्वानुमान है।
वहीं आज, 16 मई, 2025 को तेलंगाना, तटीय आंध्र प्रदेश और यनम, रायलसीमा, उत्तरी आंतरिक कर्नाटक में 50 से 60 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली तूफानी हवाओं में और इजाफा होकर 70 किमी प्रति घंटे की रफ्तार में तब्दील होने के आसार हैं।
मौसम विभाग के मुताबिक, 16 और 17 मई के दौरान तमिलनाडु के अलग-अलग हिस्सों में भारी बारिश हो सकती है, जबकि 16 से 19 मई के दौरान आंतरिक कर्नाटक, 16 मई को तटीय आंध्र प्रदेश, तेलंगाना तथा रायलसीमा में बादलों के जमकर बरसने के आसार हैं, इन सभी राज्यों में 115 मिमी या उससे अधिक बरस सकते हैं बादल।
कहां पहुंचा दक्षिण-पश्चिम मॉनसून?
मौसम विभाग के मुताबिक, अगले दो से तीन दिनों के दौरान दक्षिण-पश्चिम मॉनसून के दक्षिण अरब सागर, मालदीव और कोमोरिन क्षेत्र के कुछ और हिस्सों, बंगाल की खाड़ी, अंडमान द्वीप समूह और अंडमान सागर के शेष हिस्सों तथा मध्य बंगाल की खाड़ी के कुछ हिस्सों में आगे बढ़ने की संभावना है।
कल कहां हुई बारिश व कहां पड़ी गरज के साथ बौछारें?
कल 15 मई को अंडमान और निकोबार द्वीप समूह और अरुणाचल प्रदेश के अधिकतर इलाकों, पश्चिम उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल, पूर्वी राजस्थान, गुजरात, ओडिशा, जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, छत्तीसगढ़, पूर्वी मध्य प्रदेश, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम, विदर्भ, केरल और माहे, तटीय आंध्र प्रदेश और यनम में बादल बरसे या गरज के साथ बौछारें दर्ज की गई।
वहीं कल, पश्चिम मध्य प्रदेश, असम और मेघालय, मध्य महाराष्ट्र, दक्षिण आंतरिक कर्नाटक, पश्चिम बंगाल में गंगा के तटीय इलाकों, झारखंड, उत्तरी आंतरिक कर्नाटक, तटीय कर्नाटक, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा और लक्षद्वीप के कई इलाकों में बारिश हुई या गरज के साथ बौछारें रिकॉर्ड की गई, जबकि देश के बाकी हिस्सों में मौसम शुष्क बना रहा।
कल कहां कितने बरसे बादल?
कल 15 मई को तमिलनाडु पुडुचेरी और कराईकल के मदुरै में 6 सेमी, वालपराई में 3 सेमी, पलायमकोट्टई में 1 सेमी, पूर्वी मध्य प्रदेश के सिवनी में 4 सेमी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के पोर्ट ब्लेयर में 3 सेमी, हुट बे में 2 सेमी, मायाबंदर और नानकौरी प्रत्येक जगह 1 सेमी, विदर्भ के यवतमाल में 3 सेमी, अमरावती, वाशिम प्रत्येक जगह 1 सेमी, केरल और माहे के पलक्कड़ में 2 सेमी, तटीय आंध्र प्रदेश और यनम के काकीनाडा में 2 सेमी बारिश रिकॉर्ड की गई।
वहीं कल, पश्चिमी मध्य प्रदेश के पचमढ़ी में 2 सेमी, असम और मेघालय के जोरहाट में 2 सेमी, डिब्रूगढ़, सिलचर और गोलाघाट प्रत्येक जगह 1 सेमी, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम के गंगटोक में 2 सेमी, मध्य महाराष्ट्र के कोल्हापुर में 1 सेमी, दक्षिण आंतरिक कर्नाटक के चित्रदुर्ग में 1 सेमी, अरुणाचल प्रदेश के पासीघाट में 1 सेमी, पश्चिम बंगाल में गंगा के तटीय इलाकों के मिदनापुर में 1 सेमी बारिश दर्ज की गई।