दुनिया भर में बढ़ रहे हैं कमर दर्द के मरीज, विशेषज्ञों ने बताई वजह

एक अध्ययन में पाया गया कि दुनिया में पीठ दर्द के लगभग 61.9 करोड़ मरीज हैं, जिनकी संख्या 2050 में बढ़ कर 84 करोड़ तक पहुंच सकती है
फोटो साभार :आई-स्टॉक
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पीठ का दर्द या पीठ के निचले हिस्से में दर्द कई अलग-अलग कारणों से हो सकता है, जैसे चोट लगना, मांसपेशियों में खिंचाव या टेंडन की चोट आदि। दर्द हल्के से लेकर गंभीर तक हो सकता है। कुछ मामलों में, दर्द चलने, सोने, रोजमर्रा के काम को करने को मुश्किल या असंभव बना सकता है।

लगभग पांच में से चार लोगों को अपने जीवन में कभी न कभी पीठ के निचले हिस्से में दर्द होता है। यह लोगों द्वारा स्वास्थ्य सेवा देने वालों के पास जाने के सबसे सामान्य कारणों में से एक है।

सामान्यतया पीठ का दर्द, पीठ में खिंचाव और मोच वाले अधिकांश लोग ठीक हो जाते हैं और उन्हें लंबे समय तक स्वास्थ्य समस्याएं नहीं होती हैं। लेकिन कई लोगों को इस समस्या से लगातार जूझना पड़ता है, इसलिए इसे अनदेखा नहीं किया जाना चाहिए।

अब एक नए अध्ययन में डरावनी बात कही गई है कि, 2050 तक दुनिया भर में 84 करोड़ से अधिक लोग पीठ दर्द से पीड़ित हो सकते हैं, जो मुख्य रूप से लोगों की बढ़ती उम्र के कारण ऐसा होगा।

अध्ययनकर्ताओं ने इसके लिए 30 से अधिक सालों के आंकड़ों का विश्लेषण किया। एशिया और अफ्रीका में पीठ के दर्द के मरीजों में सबसे बड़ी वृद्धि देखी जा रही है।

अध्ययन में कहा गया है कि पीठ दर्द के इलाज के सीमित विकल्पों ने समस्याओं को बढ़ा दिया है। इससके कारण स्वास्थ्य संबंधी संकट पैदा होता है, क्योंकि पीठ के निचले हिस्से में दर्द दुनिया में विकलांगता का एक प्रमुख कारण है

ऑस्ट्रेलिया में सिडनी विश्वविद्यालय के प्रोफेसर और प्रमुख अध्ययनकर्ता मैनुएला फेरेरा ने कहा, हमारा विश्लेषण विश्व स्तर पर कमर के निचले भाग के दर्द के मामलों को उजागर करता है, जो कि हमारी स्वास्थ्य प्रणाली पर भारी दबाव डालता है।

फेरेरा ने कहा, हमें कमर के निचले भाग के दर्द या लौ बैक पैन के प्रबंधन के लिए एक राष्ट्रीय, सही दृष्टिकोण स्थापित करने की जरूरत है, जो शोध द्वारा पूरा  किया गया हो।

अध्ययन में पाया गया कि 2017 के बाद से, पीठ के निचले हिस्से में दर्द वाले मरीजों की संख्या 50 करोड़ से अधिक हो गई है। 2020 में, पीठ दर्द के लगभग 61.9 करोड़ मरीज सामने आए।

पीठ दर्द से जुड़े कम से कम एक तिहाई के पीछे व्यावसायिक कारण, धूम्रपान और अधिक वजन था। एक व्यापक गलत धारणा यह है कि कमर के निचले भाग का दर्द ज्यादातर कामकाजी उम्र के वयस्कों को परेशान करता है। हालांकि, अध्ययनकर्ताओं ने कहा कि इस अध्ययन ने पुष्टि की है कि पीठ के निचले हिस्से में दर्द वृद्ध लोगों में अधिक आम है।

उन्होंने कहा कि पीठ के निचले हिस्से में दर्द के मामले पुरुषों की तुलना में महिलाओं में अधिक देखे गए हैं। अध्ययन ने समय के आधार पर पीठ दर्द के मामलों के परिदृश्य को मापने के लिए 204 से अधिक देशों और क्षेत्रों से 1990 से 2020 तक ग्लोबल बर्डन ऑफ डिजीज (जीबीडी) के आंकड़ों का विश्लेषण किया ।

ग्लोबल बर्डन ऑफ डिजीज (जीबीडी) अलग-अलग देशों, समय और आयु में मृत्यु दर और अक्षमता की सबसे व्यापक तस्वीर पेश करता है।

ग्लोबल एलायंस फॉर मस्कुलोस्केलेटल हेल्थ के सह-अध्यक्ष प्रोफेसर एंथनी वूल्फ ने कहा, स्वास्थ्य प्रणालियों को पीठ के निचले हिस्से में दर्द के इस भारी और बढ़ते बोझ का जवाब तलाशने की जरूरत है, जो वैश्विक स्तर पर लोगों को प्रभावित कर रहा है।

वूल्फ ने कहा, कमर दर्द को रोकने और देखभाल तक पहुंच सुनिश्चित करने के लिए बहुत कुछ करने की जरूरत है, क्योंकि दर्द में लोगों की मदद करने के प्रभावी तरीके हैं।

2018 में, विशेषज्ञों ने द लांसेट जर्नल में अपनी चिंताओं को व्यक्त किया था और विशेष रूप से व्यायाम और शिक्षा के बारे में सुझाव दिए थे। जिसमें कहा गया था कि, अनुचित उपचारों को रोकने के लिए पीठ के निचले हिस्से में दर्द को रोकने और प्रबंधित करने के सबसे अच्छे तरीकों के लिए वैश्विक नीति में बदलाव करने की जरूरत है।

अध्ययनकर्ता ने कहा कि पीठ के निचले हिस्से के दर्द के लिए सुझाए गए सामान्य उपचार अप्रभावी पाए गए हैं, इसमें कुछ सर्जरी और ओपिओइड शामिल हैं।

फरेरा ने कहा कि स्वास्थ्य पेशेवर पीठ दर्द के मामलों का प्रबंधन कैसे करते हैं और स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली को कैसे लागू करते है, इसकी निरंतरता की कमी पाई गई है। यह अध्ययन लैंसेट रुमेटोलॉजी जर्नल में प्रकाशित हुआ है।

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