अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस: शारीरिक निष्क्रियता को कम करने से लेकर मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है योग

योग के द्वारा डब्ल्यूएचओ ने लोगों को शारीरिक निष्क्रियता कम करने का आग्रह किया है, जो दुनिया भर में मृत्यु के शीर्ष दस प्रमुख कारणों में से एक है।
योग एक प्राचीन शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है जिसकी उत्पत्ति भारत में हुई थी। ‘योग’ शब्द संस्कृत से निकला है, इसका अर्थ है जुड़ना या एकजुट होना, जो शरीर और चेतना के मिलन का प्रतीक है।
योग एक प्राचीन शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है जिसकी उत्पत्ति भारत में हुई थी। ‘योग’ शब्द संस्कृत से निकला है, इसका अर्थ है जुड़ना या एकजुट होना, जो शरीर और चेतना के मिलन का प्रतीक है। फोटो साभार: आईस्टॉक
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हर साल अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस 21 जून को मनाया जाता है। आज इस वैश्विक उत्सव की 11वीं वर्षगांठ है। यह दिन योग के अपार शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक फायदों को पहचानने के लिए समर्पित है। इस साल योग दिवस की थीम "एक पृथ्वी, एक स्वास्थ्य के लिए योग" है, जो लोगों और ग्रह के बीच सद्भाव को बढ़ावा देने में योग की एकीकृत शक्ति पर प्रकाश डालती है।

योग क्या है और हम इसे क्यों मनाते हैं?

योग एक प्राचीन शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है जिसकी उत्पत्ति भारत में हुई थी। ‘योग’ शब्द संस्कृत से निकला है, इसका अर्थ है जुड़ना या एकजुट होना, जो शरीर और चेतना के मिलन का प्रतीक है। योग को अपनाने से मनुष्य अधिक सचेत हो जाता है, अपनी चेतना को बढ़ता है और अपने समग्र स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है। आज यह दुनिया भर में विभिन्न रूपों में प्रचलित है और इसकी लोकप्रियता बढ़ती जा रही है।

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योग एक प्राचीन शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है जिसकी उत्पत्ति भारत में हुई थी। ‘योग’ शब्द संस्कृत से निकला है, इसका अर्थ है जुड़ना या एकजुट होना, जो शरीर और चेतना के मिलन का प्रतीक है।

नियमित रूप से योग का अभ्यास करना स्वास्थ्य के लिए सबसे सरल और सबसे शक्तिशाली चीजों में से एक है। ताड़ासन जैसे आसान आसन से लेकर सूर्य नमस्कार जैसे अधिक चुनौतीपूर्ण आसन तक, प्रत्येक आसन अनोखे फायदों, लचीलापन, ध्यान, शांति और स्पष्टता लाता है। इसके अलावा, योग कहीं भी, कभी भी किया जा सकता है, बशर्ते इसे उचित मार्गदर्शन में किया जाए।

आधिकारिक तौर पर अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस बनाने का मसौदा प्रस्ताव भारत द्वारा 2014 में संयुक्त राष्ट्र (यूएन) महासभा में प्रस्तावित किया गया था। संयुक्त राष्ट्र ने संकल्प 69/131 द्वारा 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के रूप में घोषित किया।

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का उद्देश्य योग के अभ्यास के अनेक फायदों के बारे में दुनिया भर में जागरूकता बढ़ाना है। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस की स्थापना के लिए मसौदा प्रस्ताव भारत द्वारा प्रस्तावित किया गया था और रिकॉर्ड 175 सदस्य देशों द्वारा इसका समर्थन किया गया।

इस प्रस्ताव को सबसे पहले भारत के प्रधानमंत्री ने महासभा के 69वें सत्र के उद्घाटन के दौरान अपने संबोधन में पेश किया था, जिसमें कहा गया था कि योग हमारी प्राचीन परंपरा का एक अमूल्य उपहार है।

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योग एक प्राचीन शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक अभ्यास है जिसकी उत्पत्ति भारत में हुई थी। ‘योग’ शब्द संस्कृत से निकला है, इसका अर्थ है जुड़ना या एकजुट होना, जो शरीर और चेतना के मिलन का प्रतीक है।

योग मन और शरीर, विचार और क्रिया की एकता का प्रतीक है, यह एक समग्र दृष्टिकोण हमारे स्वास्थ्य और हमारी भलाई के लिए अहम है। योग केवल व्यायाम के बारे में नहीं है, यह स्वयं, दुनिया और प्रकृति के साथ एकता की भावना को खोजने का एक तरीका है।

प्रस्ताव में लोगों और आबादी के लिए स्वस्थ विकल्प चुनने और अच्छे स्वास्थ्य को बढ़ावा देने वाली जीवनशैली अपनाने के महत्व पर गौर किया गया। इस संबंध में, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने अपने सदस्य देशों से अपने नागरिकों को शारीरिक निष्क्रियता कम करने में मदद करने का भी आग्रह किया है, जो दुनिया भर में मृत्यु के शीर्ष दस प्रमुख कारणों में से एक है और गैर-संचारी रोगों, जैसे हृदय रोग, कैंसर और मधुमेह के लिए एक प्रमुख कारण है।

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