हालांकि, हाल के सालों में चरम मौसम की घटनाओं में वृद्धि के कारण फसल के नुकसान की गंभीरता के बावजूद, फसल बीमा को चुनने वाले किसानों की संख्या में गिरावट आई है। आंध्र प्रदेश, झारखंड, तेलंगाना, बिहार, गुजरात, पंजाब और पश्चिम बंगाल - ये सारे कृषि-प्रधान राज्य पहले ही इस योजना से खुद का अलग कर चुके हैं। इनमें से कुछ राज्यों ने अपने यहां अलग फसल बीमा योजना भी लागू की है।