आपदा

केरल व कर्नाटक में बाढ़ का कहर, सामान्य से कई गुणा अधिक बारिश

DTE Staff

दक्षिण भारत के कई राज्य बाढ़ की चपेट में हैं। केरल व कर्नाटक में बाढ़ का कहर बढ़ता जा रहा है। केरल में 24 घंटे के दौरान 24 जगह लैंड स्लाइड हुई, इसमें 22 लोगों की मौत हो गई और लगभग 22106 लोगों को अलग-अलग राहत शिविरों में जगह दी गई है।

केरल में 7 अगस्त से भारी बारिश हो रही है। इससे लोग खासे परेशान हो रहे हैं। पिछले साल 2018 में बारिश के कारण तबाही का मंजर देख चुके केरल वासी इस बरसात से बेहद घबराए हुए हैं। 2018, राज्य के इतिहास का सबसे बुरा वर्ष साबित हुआ, इस साल बाढ़ की वजह से लगभग 500 लोगों की मौत हुई थी और राज्य को लगभग 31 हजार करोड़ रुपए का नुकसान हुआ था।

इस बार भी बाढ़ का कहर बढ़ रहा है। केरल के 14 में से 9 जिलों में रेड अलर्ट जारी हो चुका है। तीन जिलों में ओरेंज और दो में येलो अलर्ट जारी किया गया है। पूरे राज्य में 315 बाढ़ राहत शिविर बनाए गए हैं। इन शिविरों में 5936 परिवारों के 22106 लोगों को रखा गया है। अकेले वायनाड में 105 शिविर बनाए गए हैं। 8 व 9 अगस्त के बीच कई इलाकों में लैंड स्लाइडिंग की घटनाएं हुई। इनमें कई लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका भी जताई जा रही है।

कर्नाटक में भी भारी बारिश से तबाही की खबरें हैं। यहां एक ही दिन में सामान्य से 3000 प्रतिशत अधिक बारिश हुई। यहां के 12 जिले बाढ़ की चपेट में हैं और इससे 20 लोगों की मौत हो चुकी है। कई जिलों में सामान्य कई गुणा अधिक बारिश हो रही है। मौसम विभाग के आंकड़ों के मुताबिक, मैसूर में सामान्य से 3176 प्रतिशत अधिक, धारवाड़ में 2222 प्रतिशत अधिक, कोडगू में 700 फीसदी बारिश एक ही दिन में हो चुकी है।

कावेरी नदी से लगते कर्नाटक के कोडागू जिले में मई तक सूखा पड़ा था, लेकिन अगस्त के पहले नौ दिन में यहां सामान्य से दोगुना अधिक बारिश हो चुकी है। पहले 9 दिन में यहां लगभग 19 इंच यानी 920 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है।