वायु

बद्दी में जानलेवा हुआ प्रदूषण, साफ हवा वाले शहरों में 26 फीसदी का हुआ इजाफा

बेलगाम सहित देश के 29 शहरों में आज वायु गुणवत्ता का स्तर 'बेहतर' दर्ज किया गया। कल से देखें तो इन शहरों की संख्या में 26 फीसदी से ज्यादा का इजाफा हुआ है

Lalit Maurya

देश में प्रदूषण के समीकरण हर दिन बदल रहे हैं, जहां कल बीकानेर, ग्रेटर नोएडा, श्री गंगानगर में प्रदूषण से हवा जानलेवा थी। वहीं आज इन शहरों को पीछे छोड़ बद्दी देश का सबसे प्रदूषित शहर बन गया है, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक 301 दर्ज किया गया। वहीं दूसरी तरफ रामनाथपुरम में हवा सबसे साफ है, जहां एक्यूआई 28 रिकॉर्ड किया गया। यदि बद्दी में पसरे प्रदूषण की तुलना रामनाथपुरम से करें तो वहां हवा करीब 11 गुणा खराब है। देश के 28 अन्य शहरों में भी आज वायु गुणवत्ता का स्तर 'बेहतर' दर्ज किया गया। कल से देखें तो इन शहरों की संख्या में 26 फीसदी से ज्यादा का इजाफा हुआ है। बता दें कि देश में देवास, गडग, गंगटोक, हसन, हावेरी, झांसी, कलबुर्गी, कन्नूर, करवार, कोहिमा, कोल्लम, कोप्पल, मैसूरु, रामनगर, रामनाथपुरम, शिलांग, सिलचर, सहित अन्य शहरों में हवा बेहतर बनी हुई है।

राजधानी दिल्ली से जुड़े आंकड़ों पर गौर करें तो कल से प्रदूषण के स्तर में गिरावट आई है, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक में 11 अंकों की गिरावट दर्ज की गई। इसी तरह फरीदाबाद में भी कल से प्रदूषण में 54 अंकों की कमी आई है। हालांकि इसके बावजूद इन दोनों शहरों में हवा दमघोंटू बनी हुई है। इसी तरह देश के छोटे बड़े 20 अन्य शहरों में भी प्रदूषण से स्थिति दमघोंटू है। इन शहरों में अमृतसर (226), आरा (240), बागपत (243), बल्लभगढ़ (230), बांसवाड़ा (206), भिवाड़ी (224), फतेहाबाद (216), ग्रेटर नोएडा (282), गुरुग्राम (228) आदि शामिल हैं। कल से तुलना करें तो देश में खराब वायु गुणवत्ता वाले शहरों की संख्या में करीब पांच फीसदी का इजाफा हुआ है। इसी तरह मध्यम वायु गुणवत्ता वाले शहरों की संख्या भी पांच फीसदी बढ़ी है।

इन शहरों में अलवर, अंबाला, आसनसोल, बहादुरगढ़, बारबिल, बाड़मेर, बठिंडा, बेलापुर, भागलपुर, भिवानी, भोपाल, भुवनेश्वर, बीदर, बीकानेर, बोईसर, ब्रजराजनगर, बुलंदशहर, बूंदी, ब्यासनगर, चंडीगढ़, चंद्रपुर, चरखी दादरी, छाल, चित्तौड़गढ़, चूरू, देहरादून, धौलपुर, धुले, डूंगरपुर, दुर्गापुर, गया, गाजियाबाद, गोरखपुर, ग्वालियर, हापुड़, जयपुर, जैसलमेर, जालंधर, जलगांव, जालना, जालोर, झालावाड़, झुंझुनू, जींद, जोधपुर, कैथल, कल्याण, कानपुर, करौली, करनाल, काशीपुर, कटनी, खन्ना आदि शहर शामिल रहे।

वहीं दूसरी तरफ देश में संतोषजनक वायु गुणवत्ता वाले शहरों की संख्या में कल से करीब आठ फीसदी की गिरावट आई है। इसके बावजूद इन शहरों की संख्या 83 दर्ज की गई है। इन शहरों में बर्नीहाट, चेन्नई, चित्तूर, कटक, दौसा, धारवाड़, एलूर, फिरोजाबाद, गांधीनगर, गुम्मिडीपोंडी, गुवाहाटी, हल्दिया, हावड़ा, हुबली, हैदराबाद, इम्फाल, इंदौर, जबलपुर, कडपा, कटिहार, क्योंझर, कोल्हापुर, कोलकाता, लातूर, महाद, मानेसर, मैंगलोर, मंगुराहा, मिलुपारा, मीरा-भयंदर, मुंबई, नागांव, नासिक, ऊटी आदि शामिल थे।

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा 30 मई 2024 को जारी रिपोर्ट के मुताबिक, देश के 233 में से 29 शहरों में हवा 'बेहतर' (0-50 के बीच) रही। वहीं 83 शहरों में वायु गुणवत्ता 'संतोषजनक' (51-100 के बीच) है, गौरतलब है कि 29 मई 2024 यह आंकड़ा 90 दर्ज किया गया था।

98 शहरों में वायु गुणवत्ता 'मध्यम' (101-200 के बीच) रही। वहीं 22 शहरों अमृतसर, आरा, बागपत, बल्लभगढ़, बांसवाड़ा, भिवाड़ी, दिल्ली, फरीदाबाद, फतेहाबाद, ग्रेटर नोएडा, गुरुग्राम, हाजीपुर, हनुमानगढ़, कुरुक्षेत्र, मेरठ, मुजफ्फरनगर, नारनौल, नोएडा, पंचकुला, पटना, सिरसा, श्री गंगानगर में स्थिति दमघोंटू है। दूसरे शहरों की तुलना में बद्दी (301) में स्थिति सबसे ज्यादा खराब है, जहां एक्यूआई 300 के पार पहुंच गया है।   

यदि दिल्ली की बात करें तो यहां वायु गुणवत्ता 'खराब' श्रेणी में है, जहां एयर क्वालिटी इंडेक्स 11 अंक गिरकर 227 पर पहुंच गया है। दिल्ली के अलावा फरीदाबाद में इंडेक्स 218, गाजियाबाद में 191, गुरुग्राम में 228, नोएडा में 222, ग्रेटर नोएडा में 282 पर पहुंच गया है। 

देश के अन्य प्रमुख शहरों से जुड़े आंकड़ों को देखें तो मुंबई में वायु गुणवत्ता सूचकांक 82 दर्ज किया गया, जो प्रदूषण के 'संतोषजनक' स्तर को दर्शाता है। जबकि लखनऊ में यह इंडेक्स 193, चेन्नई में 84, चंडीगढ़ में 176, हैदराबाद में 74, जयपुर में 151 और पटना में 206 दर्ज किया गया।

इन शहरों की हवा रही सबसे साफ 

अरियालुर (40) सहित देश के जिन 23 शहरों में वायु गुणवत्ता सूचकांक 50 या उससे नीचे यानी 'बेहतर' रहा, उनमें अरियालुर 40, बारां 39, बेलगाम 50, चामराजनगर 46, चिक्काबल्लापुर 48, चिक्कमगलुरु 43, कोयंबटूर 39, कुड्डालोर 36, दावनगेरे 41, देवास 42, गडग 43, गंगटोक 49, हसन 29, हावेरी 38, झांसी 45, कलबुर्गी 48, कन्नूर 40, करवार 35, कोहिमा 40, कोल्लम 47, कोप्पल 49, मैसूरु 42, रामनगर 30, रामनाथपुरम 28, शिलांग 50, सिलचर 44, तिरुवनंतपुरम 44, तिरुपुर 40, विजयपुरा 39 शामिल रहे।

वहीं आगरा, अहमदनगर, आइजोल, अकोला, अमरावती, अमरावती, अनंतपुर, अंगुल, अंकलेश्वर, औरंगाबाद (महाराष्ट्र), बदलापुर, बालासोर, बरेली, बारीपदा, बैरकपुर, बेंगलुरु, भरतपुर, भिलाई, भीलवाड़ा, भिवंडी, बिलासपुर, बर्नीहाट, चेन्नई, चित्तूर, कटक, दौसा, धारवाड़, एलूर, फिरोजाबाद, गांधीनगर, गुम्मिडीपोंडी, गुवाहाटी, हल्दिया, हावड़ा, हुबली, हैदराबाद, इम्फाल, इंदौर, जबलपुर, कडपा, कटिहार, क्योंझर, कोल्हापुर, कोलकाता, लातूर, महाद, मानेसर, मैंगलोर, मंगुराहा, मिलुपारा, मीरा-भयंदर, मुंबई, नागांव, नासिक, ऊटी, पिंपरी-चिंचवाड़, प्रतापगढ़, प्रयागराज, पुडुचेरी, पुणे, रायचूर, रायपुर, राजमहेंद्रवरम, सागर, सलेम, सांगली, सतना, शिवमोग्गा, सिलीगुड़ी, शिवसागर, सोलापुर, तालचेर, ठाणे, थूथुकुडी, त्रिशूर, तिरुपति, उडुपी, वापी, वाराणसी, वातवा, विजयवाड़ा, विरार, यादगीर, आदि 83 शहरों में वायु गुणवत्ता संतोषजनक रही, जहां सूचकांक 51 से 100 के बीच दर्ज किया गया। 

क्या दर्शाता है यह वायु गुणवत्ता सूचकांक, कैसे जा सकता है समझा?

देश में वायु प्रदूषण के स्तर और वायु गुणवत्ता की स्थिति को आप इस सूचकांक से समझ सकते हैं जिसके अनुसार यदि हवा साफ है तो उसे इंडेक्स में 0 से 50 के बीच दर्शाया जाता है। इसके बाद वायु गुणवत्ता के संतोषजनक होने की स्थिति तब होती है जब सूचकांक 51 से 100 के बीच होती है। इसी तरह 101-200 का मतलब है कि वायु प्रदूषण का स्तर माध्यम श्रेणी का है, जबकि 201 से 300 की बीच की स्थिति वायु गुणवत्ता की खराब स्थिति को दर्शाती है।

वहीं यदि सूचकांक 301 से 400 के बीच दर्ज किया जाता है जैसा दिल्ली में अक्सर होता है तो वायु गुणवत्ता को बेहद खराब की श्रेणी में रखा जाता है। यह वो स्थिति है जब वायु प्रदूषण का यह स्तर स्वास्थ्य को गंभीर और लम्बे समय के लिए नुकसान पहुंचा सकता है।

इसके बाद 401 से 500 की केटेगरी आती है जिसमें वायु गुणवत्ता की स्थिति गंभीर बन जाती है। ऐसी स्थिति होने पर वायु गुणवत्ता इतनी खराब हो जाती है कि वो स्वस्थ इंसान को भी नुकसान पहुंचा सकती है, जबकि पहले से ही बीमारियों से जूझ रहे लोगों के लिए तो यह जानलेवा हो सकती है। 

दूसरी तरफ देश में अमरावती में हवा सबसे ज्यादा साफ है, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक 18 दर्ज किया गया है। यदि अमरावती में प्रदूषण की तुलना देश के सबसे प्रदूषित शहर ग्रेटर नोएडा से करें तो वहां हवा 17 गुणा साफ है। इसी तरह देश 34 अन्य शहरों में भी वायु गुणवत्ता बेहतर बनी हुई है। यदि कल से तुलना करें तो देश में बेहतर हवा वाले शहरों की संख्या में 14 फीसदी से ज्यादा की गिरावट आई है। ऐसा ही कुछ संतोषजनक हवा वाले शहरों के साथ भी हुआ है, जिनकी संख्या में कल से दो फीसदी से ज्यादा की गिरावट आई है। बता दें कि इन शहरों की संख्या 92 बनी हुई है। इनमें अंबाला, अमरावती, बदलापुर, बालासोर, बारीपदा, बेलापुर, बेतिया, भागलपुर, भिलाई, भीलवाड़ा, भोपाल, भुवनेश्वर, बीदर, बिलासपुर, बिलीपाड़ा, बोईसर आदि शहर शामिल हैं।

देश के 75 शहरों में वायु गुणवत्ता का स्तर मध्यम श्रेणी में दर्ज किया गया है। इन शहरों में बागपत, बारां, बाड़मेर, बठिंडा, भिवाड़ी, भिवंडी, भिवानी, बीकानेर, बुलन्दशहर, बूंदी, चंडीगढ़, चरखी दादरी, चुरू, दौसा, धनबाद, धारूहेड़ा, धुले, गडग, ग्वालियर आदि शहर शामिल रहे। कल से देखें तो इन शहरों के आंकड़े में आठ फीसदी की गिरावट आई है।